बीना/सोनभद्र/एबीएन न्यूज। एनसीएल बीना परियोजना में कार्यरत ओबी कंपनी – चेन्नई राधा इंजीनियरिंग प्राइवेट लिमिटेड में कोयला अधिभार (ओवरबर्डन) हटाने हेतु हो रही मजदूर भर्ती प्रक्रिया में कोटा एवं दलाली प्रथा को समाप्त करने की मांग को लेकर ग्रामीणों का आक्रोश फूट पड़ा है।
ग्राम बांसी के सैकड़ों विस्थापितों एवं प्रभावितों ने हस्ताक्षरयुक्त पत्र एनसीएल बीना परियोजना के प्रबंधक को सौंपते हुए आरोप लगाया कि कंपनी में रोजगार देने के नाम पर ग्राम प्रधानों, जनप्रतिनिधियों और समाजसेवियों को कोटा दिया जा रहा है, जिसके माध्यम से लाखों रुपये की दलाली वसूली की जा रही है।
ग्रामीणों का कहना है कि यह कोटा प्रथा बेरोजगार और जरूरतमंद युवाओं के शोषण का माध्यम बन गई है। दलालों के जरिए युवाओं से मोटी रकम लेकर नौकरी दिलाने का आश्वासन दिया जाता है, जो अपराध की श्रेणी में आता है।
ज्ञापन में स्पष्ट रूप से लिखा गया है कि ग्रामवासी किसी भी प्रधान या क्षेत्रीय प्रतिनिधि के कोटा का समर्थन नहीं करते। अगर कंपनी ने कोटा आधारित भर्ती प्रक्रिया को तत्काल प्रभाव से बंद नहीं किया, तो ग्रामवासी उग्र आंदोलन शुरू करेंगे, जिसकी सम्पूर्ण जिम्मेदारी एनसीएल बीना परियोजना के महाप्रबंधक की होगी।
ग्रामीणों ने यह भी मांग की है कि भर्ती प्रक्रिया पूर्णतः पारदर्शी और पात्रता आधारित होनी चाहिए, ताकि योग्य और असहाय युवाओं को वास्तविक रोजगार मिल सके।