कश्मीर के पहलगाम में आतंकी हमले के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव चरम पर है। हमले के जवाब में भारत ने कई रणनीतिक कदम उठाए हैं। जिससे पाकिस्तान में खौफ का माहौल है। पाकिस्तान में इस बात को लेकर डर है कि भारत सैन्य अभियान भी चला सकता है। बावजूद इसके पाकिस्तान के नेताओं की बदजुबानी जारी है। अब एक बार फिर पाकिस्तान के उप प्रधानमंत्री ने इशाक डार ने ऐसा ही बयान दिया है, जो उनकी बौखलाहट को साफ दिखाता है। उन्होंने मंगलवार को कहा कि भारत को ईंट के बदले पत्थर से जवाब दिया जाएगा।
सीनेट सत्र को संबोधित कर रहे थे इशाक डार
सीनेट सत्र को संबोधित करते हुए डार ने कहा कि हो सकता है कि भारत ने सिंधु जल संधि (आईडब्ल्यूटी) को खत्म करने के लिए पहलगाम नाटक किया है। उन्होंने कहा, हम पहले नहीं करेंगे, लेकिन अगर भारत ने कुछ किया, तो हम ईंट का जवाब पत्थर से देंगे। विदेश मंत्री डार ने यह भी कहा कि भारत एकतरफा आईडब्ल्यूटी को निलंबित नहीं कर सकता है। अगर भारत पानी में हस्तक्षेप करने की कोशिश करता है, तो हम इसे युद्ध की कार्रवाई मानेंगे क्योंकि यह 24 करोड़ लोगों के जीवन का मामला है। उन्होंने स्पष्ट रूप से कहा कि पहलगाम की घटना में पाकिस्तान की कोई संलिप्तता नहीं थी।
गौरतलब है कि जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल को हुए आतंकी हमले में 26 लोगों की जान चली गई थी। इस घटना में पाकिस्तान का हाथ होने की बात सामने आई है। भारत ने कुल चार आतंकियों में से दो के पाकिस्तानी होने का खुलासा किया है। भारत ने इस घटना के मद्देनजर पाकिस्तान पर एक के बाद एक कार्रवाई जारी रखी है और सिंधु जल समझौता तोड़ने के बाद सोमवार को पाकिस्तानी यूट्यूब चैनल्स से जुड़ी सामग्री को भी बैन करने का फैसला किया है।
दोस्त चीन के कदमों गिरा पाकिस्तान
चीन ने 23 अप्रैल को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में खौफनाक आतंकवादी हमले की निंदा की थी। इस हमले में 26 लोग मारे गए थे, जिनमें ज्यादातर पर्यटक थे। हालांकि, भारत और पाकिस्तान के बीच बढ़ते तनाव पर चीन की पहली प्रतिक्रिया तब आई, जब पाकिस्तान के उप प्रधानमंत्री और विदेश मंत्री इशाक डार ने रविवार को चीन के शीर्ष राजनयिक वांग यी से फोन पर बात की और बीजिंग का समर्थन का मांगा।
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आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई दुनिया की साझा जिम्मेदारी: वांग यी
ग्लोबल टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक, डार के अनुरोध पर वांग ने फोन पर बात की थी। वांग ने कहा कि चीन इस घटनाक्रम पर करीब से नजर रखे हुए है और आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई पूरी दुनिया की साझा जिम्मेदारी है। उन्होंने पाकिस्तान के कथित आतंकवाद विरोधी प्रयासों के लिए चीन के निरंतर समर्थन को भी दोहराया।
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सिंधु जल समझौते पर नहीं की टिप्पणी
उन्होंने कहा, एक मजबूत दोस्त और सदाबहार रणनीतिक सहयोगी के रूप में चीन पाकिस्तान की वैध सुरक्षा चिंताओं को पूरी तरह समझता है और पाकिस्तान को अपनी संप्रभुता और सुरक्षा हितों की रक्षा करने में समर्थन देता है। वांग ने यह भी कहा, चीन त्वरित और निष्पक्ष जांच का स्वागत करता है और मानता है कि संघर्ष न तो भारत और न ही पाकिस्तान और न ही ही क्षेत्रीय शांति व स्थिरता के लिए फायदेमंद है। हालांकि, सिंधु जल संधि के निलंबन पर उन्होंने कोई भी टिप्पणी नहीं की।