UP Lok Sabha Election 2024
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बसपा के हाथी की चाल तय करेगी कि सीतापुर संसदीय सीट पर कमल खिलेगा या कांग्रेस का पंजा अपनी छाप छोड़ेगा। यहां का चुनावी इतिहास इसकी तस्दीक करता है। भाजपा और कांग्रेस-सपा गठबंधन ने अपने प्रत्याशी मैदान में उतारे हैं। बसपा ने अब तक पत्ते नहीं खोले हैं। हर किसी की नजर बसपा पर लगी है।
बसपा किस पर दांव लगाएगी, इसका सभी को बेसब्री से इंतजार है। सीतापुर संसदीय सीट पर बसपा ने तीन बार विजय पताका फहराया है। 2019 के चुनाव में बसपा दूसरे नंबर पर रही। इस बार चुनावी बिसात बिछने के बाद भी बसपा फिलहाल चुप है। लिहाजा, सीतापुर लोकसभा की सियासी तस्वीर अभी धुंधली है।
सीतापुर सीट से बसपा ने 1989 में पहला चुनाव लड़ा। इसमें बसपा के टिकट पर सय्यद नासिर ने किस्मत आजमाई। पहले ही चुनाव में हाथी ने दमदार प्रदर्शन करते हुए 1,16,680 मतों के साथ तीसरा स्थान हासिल किया।
1991 के चुनाव में बसपा के अजीज खान 35,670 मतों के साथ पांचवें नंबर पर रहे। 1996 के चुनाव में बसपा ने फिर ताकत दिखाई। बसपा प्रत्याशी प्रेमनाथ 1,17,791 मत हासिल कर तीसरे नंबर पर रहे। प्रेमनाथ ने 1998 में फिर बसपा के टिकट पर ताल ठोंकी और 1,88,954 मत पाकर रनर रहे। बसपा ने यहां 1999 में जीत का स्वाद चखा।