इस्राइल में वॉर कैबिनेट की बैठक में प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू
– फोटो : एएनआई / इस्राइली पीएमओ
विस्तार
ईरान ने इस्राइल पर ड्रोन हमला किया है। इस्राइली सेना ईरान की हिमाकत का जवाब देने को तैयार है। अमेरिका और ब्रिटेन जैसे देश भी पश्चिम एशिया के घटनाक्रम पर लगातार नजरें बनाए हुए है। इस्राइली रक्षा बलों (IDF) ने कहा है कि ईरान की उग्र कार्रवाई का माकूल जवाब देने के लिए सेना मुस्तैद है। इस्राइली सीमा की रक्षा की जाएगी।
आईडीएफ प्रवक्ता आरएडीएम डैनियल हगारी ने कहा, सहयोगियों के साथ मिलकर आईडीएफ इस्राइल और यहां की जनता की रक्षा के लिए पूरी ताकत से काम कर रहा है। उन्होंने कहा, मिशन को पूरा करने के लिए आईडीएफ प्रतिबद्ध है।
ईरान-इस्राइल तनाव पर अमेरिकी राष्ट्रपति के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार जेक सुलिवन ने एक्स पर पोस्ट किया। उन्होंने कहा, मध्य पूर्व की घटनाओं पर चर्चा करने के लिए उन्होंने अपने इस्राइली समकक्ष हानेग्बी से बात की। सुलिवन के मुताबिक उन्होंने इस्राइली राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार को उनके देश की सुरक्षा के मामले में अमेरिका की तरफ से दृढ़ प्रतिबद्धता का भरोसा दिलाया है।
व्हाइट हाउस में राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद के आधिकारिक प्रवक्ता एड्रिएन वॉटसन ने कहा, ईरान ने इस्राइल के खिलाफ हवाई हमला शुरू कर दिया है। राष्ट्रपति बाइडन को उनकी राष्ट्रीय सुरक्षा टीम पूरी जानकारी दे रही है। व्हाइट हाउस में बाइडन बैठक भी करेंगे। राष्ट्रपति बाइडन की टीम इस्राइली अधिकारियों के साथ-साथ अन्य साझेदारों और सहयोगियों के साथ लगातार संपर्क में है। राष्ट्रपति ने स्पष्ट किया है कि इस्राइल की सुरक्षा के मुद्दे पर अमेरिका मजबूती से समर्थन कर रहा है।
इस मामले पर ब्रिटेन के प्रधानमंत्री ऋषि सुनक ने भी प्रतिक्रिया दी। इस्राइल पर ईरान के हमले के बाद सुनक ने कहा कि वे ईरान की निंदा करने के साथ-साथ इस्राइल का समर्थन करते हैं।
रिपोर्ट के मुताबिक, हमास ने इस्राइल की युद्धविराम की मांग को खारिज कर दिया। हमास के मुताबिक वह अपनी मुख्य मांगों पर कायम है। एक अन्य देश से जुड़े घटनाक्रम पर रॉयटर्स ने बताया, जॉर्डन ने कहा है कि उसकी वायु सेना हवाई सीमा का उल्लंघन करने वाले किसी भी ईरानी विमान को मार गिराने के लिए तैयार है।
जॉर्डन ने अस्थायी रूप से बंद किया अपना हवाई क्षेत्र
रॉयटर्स के मुताबिक, इस बीच जॉर्डन ने अस्थायी रूप से अपने हवाई क्षेत्र को बंद कर दिया है। एएफपी की रिपोर्ट में कहा गया कि ईरान के ड्रोन हमले के चलते इस्राइल के विमानन अधिकारी सभी उड़ानों के लिए अपना हवाई क्षेत्र बंद करेंगे।
इस्राइल के अंदर दागीं बैलिस्टिक मिसाइलें
ईरान की सरकारी समाचार एजेंसी आईआरएनए ने कहा कि तेहरान ने इस्राइल में मौजूद ठिकानों पर बैलिस्टिक मिलाइलें दागी हैं। समाचार एजेंसी एएफपी के मुताबिक, लेबनान के ईरान समर्थित चरमपंथी संगठन हिजबुल्लाह ने कहा कि इस्राइल के कब्जे वाले गोलन पर रॉकेट दागे गए।
‘ईरान-इस्राइल संघर्ष से दूर रहे अमेरिका’
इस बीच, संयुक्त राष्ट्र में ईरान के स्थायी मिशन ने भी ‘एक्स’ पर एक पोस्ट किया। इसमें कहा गया कि ईरान की सैन्य कार्रवाई दमिश्क में हमारे राजनयिक परिसर के खिलाफ यहूदीवादी शासन की आक्रामकता के जवाब में थी। मामला खत्म माना जा सकता है। हालांकि, अगर इस्राइली शासन एक और गलती करता है, तो ईरान की प्रतिक्रिया काफी ज्यादा गंभीर होगी। यह ईरान और दुष्ट इस्राइली शासन के बीच एक संघर्ष है, जिससे अमेरिका को दूर रहना चाहिए।