निशा केजरीवाल की फाइल फोटो
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निशा केजरीवाल की छह साल पहले हुई हत्या के मामले में अपर जिला जज सप्तम आजाद सिंह ने घर के सामने रहने वाले विधि छात्र आदित्य उर्फ राघव को दोषी करार दिया है। सजा पर फैसला बुधवार को सुनाया जाएगा। हाईकोर्ट से जमानत मिलने के कारण आदित्य जेल से बाहर था। दोषी करार दिए जाने के बाद उसे न्यायिक हिरासत में लेेकर जेल भेज दिया गया।
कोहना थानांतर्गत रानीघाट पुराना कानपुर निवासी अरुण केजरीवाल 12 जुलाई 2017 को अपने बेटे कृष्णा आदित्य उर्फ तन्नू के साथ कराचीखाना स्थित अपनी मोबाइल की दुकान पर चले गए थे। कंगारू किड्स स्कूल में नौकरी करने वाली छोटी बेटी सोनाली भी सुबह घर से निकल गई थी। अरुण की 52 वर्षीय पत्नी निशा घर में अकेली थी। शाम लगभग पांच बजे जब सोनाली घर लौटी तो निशा की खून से लथपथ लाश पड़ी थी। सोनाली ने फोन कर अरुण को सूचना दी। घर पहुंचकर अरुण ने अज्ञात लोगों के खिलाफ लूटपाट और हत्या की रिपोर्ट कोहना थाने में दर्ज कराई थी।