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हर एक दिवाली की तरह साल 2004 की दिवाली अपने साथ कुछ खास यादें समेटे हुए है. उस दिन एक शानदार मूवी सिनेमाघरों में रिलीज हुई थी, जिसका एक गाना रातोंरात सुपरहिट हो गया था. कमाल की बात यह है कि गाना एक रिजेक्टेड धुन पर तैयार हुआ था, जिसे गाते वक्त लता मंगेशकर रो पड़ी थीं.
नई दिल्ली: अगर आप लता मंगेशकर के फैन हैं और शाहरुख खान की रोमांटिक फिल्मों के दीवाने हैं, तो आपने साल 2004 की दिवाली पर आई शानदार फिल्म का सुपरहिट गाना जरूर सुना होगा, जिसे जावेद अख्तर ने लिखा था और संगीत संजीव कोहली ने रीक्रिएट किया था. दरअसल, मदन मोहन ने 50 साल पहले ही गाने में इस्तेमाल हुई धुन क्रिएट कर दी थी.
मदन मोहन का संगीत किया रीक्रिएट
रूप कुमार राठौड़ को गाना कैसे मिला, इसके पीछे भी दिलचस्प किस्सा है. उन्होंने बताया, ‘जब यश चोपड़ा जी (फिल्ममेकर) और संजीव कोहली (संगीतकार मदन मोहन के बेटे) फिल्म के गानों की रिकॉर्डिंग को अंतिम रूप दे रहे थे, तब वे 2003 के आसपास खुले नए स्टूडियो पहुंचे. उन्होंने रिकॉर्डिस्ट से क्वालिटी चैक के लिए कोई भी गाना चलाने को कहा और संयोग से मैंने वहां दो दिन पहले एक ट्रैक रिकॉर्ड किया था, जिसे उन्हें ‘तेरे लिए हम हैं जिए’ के लिए तुरंत फाइनल कर दिया. गाने को गीतकार जावेद अख्तर ने लिखा था. उन्हें मेरी आवाज इतनी पसंद आई कि उन्होंने मुझे ‘तेरे लिए’ के लिए फाइनल कर लिया.’
गाने ‘दिल ढूंढता है’ के लिए बनाई थी धुन
दिलचस्प बात यह है कि यह गाना मदन मोहन जी ने 1975 की फिल्म ‘मौसम’ के क्लासिक हिट ‘दिल ढूंढता है’ के लिए बनाई गई तीसरी धुन थी. लता दीदी ने मेरे हिस्से की रिकॉर्डिंग के एक दिन बाद रिकॉर्डिंग के लिए आईं और मेरी आवाज सुनी तो आंखों में आंसू भर गए. मुझे विश्वास नहीं हो रहा कि यह 20 साल पुरानी बात है.’

अभिषेक नागर News 18 Digital में Senior Sub Editor के पद पर काम कर रहे हैं. वे News 18 Digital की एंटरटेनमेंट टीम का हिस्सा हैं. वे बीते 6 सालों से पत्रकारिता के क्षेत्र में सक्रिय हैं. वे News 18 Digital से पहल…और पढ़ें
अभिषेक नागर News 18 Digital में Senior Sub Editor के पद पर काम कर रहे हैं. वे News 18 Digital की एंटरटेनमेंट टीम का हिस्सा हैं. वे बीते 6 सालों से पत्रकारिता के क्षेत्र में सक्रिय हैं. वे News 18 Digital से पहल… और पढ़ें
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