कोर्ट प्रतीकात्मक तस्वीर
– फोटो : एएनआई
विस्तार
हाथरस के सत्र न्यायाधीश सतेंद्र कुमार के न्यायालय ने सिकंदराराऊ के गांव फुलरई मुगलगढ़ी में सत्संग में मची भगदड़ में 121 लोगों की मौत के मामले में दो आरोपी महिलाओं मंजू देवी व मंजू यादव की जमानत अर्जी खारिज कर दी है। गत 2 जुलाई को हुई यह घटना कई दिनों तक देश भर में सुर्खियों में रही थी।
Trending Videos
29 जुलाई को सत्र न्यायाधीश न्यायालय में जमानत अर्जी का विरोध करते हुए जिला शासकीय अधिवक्ता मुकेश कुमार चौधरी ने कहा कि इस प्रकरण में अभी विवेचना चल रही है। ऐसे में अभियुक्तों को जमानत पर रिहा करने से विवेचना प्रभावित हो सकती है। उन्होंने तर्क दिया कि आयोजनकर्ता सेवादारों ने पूर्ववर्ती कार्यक्रमों में जुटने वाली लाखों श्रद्धालुओं की भीड़ की वास्तविक स्थिति को छिपाया और मात्र 80 हजार श्रद्धालुओं की अनुमति प्रशासन से प्राप्त की, जबकि आयोजन में लगभग ढाई लाख से अधिक श्रद्धालु शामिल हुए।
उन्होंने बताया कि विवेचना के दौरान संकलित साक्ष्य से यह तथ्य भी प्रकाश में आया है कि आयोजक सेवादार सत्संग के पंडाल में पुलिस व प्रशासन को घुसने नहीं देते हैं और स्वयं ही लाठी-डंडे लेकर वहां की व्यवस्था संभालते हैं। बाबा ने उनके रास्ते में एकत्रित भीड़ को अलग करने के लिए कहा तो आयोजक व सेवादारों ने लाठी-डंडों से भीड़ को खदेड़ना शुरू कर दिया, जिससे वहां भगदड़ मची और घटना हुई। सत्र न्यायाधीश सतेंद्र कुमार के न्यायालय ने मामले के तथ्यों, परिस्थितियों एवं अपराध की गंभीरता को देखते हुए आरोपी मंजू देवी व मंजू यादव के जमानत प्रार्थना पत्र खारिज कर दिए है।
11 आरोपियों की वीडियो कान्फ्रेसिंग से हुई पेशी
सत्संग हादसे में गिरफ्तार 11 आरोपियों की सीजेएम न्यायालय में 29 जुलाई को वीडियो कान्फ्रेसिंग से जरिये पेशी हुई। इसमें मुख्य आरोपी देव प्रकाश मुधकर, मेघ सिंह, मुकेश कुमार, मंजू यादव, मंजू देवी, राम लड़ेते, उपेंद्र सिंह,संजू कुमार, राम प्रकाश शाक्य, दुर्वेश कुमार, दलवीर सिंह की पेश हुए। मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट जय हिंद कुमार सिंह के न्यायालय ने अब इस मामले में सुनवाई की अगली तारीख 12 अगस्त नियत की है।