रामपुर में पकड़े गए तेंदुए के साथ वन विभाग की टीम
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हफ्तेभर से भी अधिक समय से कोसी नदी किनारे स्थित अनेक गांवों में आतंक का पर्याय बना तेंदुआ सोमवार तड़के पिंजड़े में कैद हो गया। तेंदुए के पकड़े जाने से ग्रामीणों ने राहत की सांस ली है। हफ्तेभर से भी अधिक समय से तेंदुए ने कोसी नदी किनारे बसे गांवों के दहशत मचा रखी थी।
बेलवाड़ा स्थित अधिवक्ता सरदार दलजीत सिंह के फार्म हाउस से शुरू हुआ तेंदुए का आतंक जमना-जमनी, चौहद्दा, भूबरी, अलीगंज और करीमपुर आदि गांवों तक फैल गया था। जहां तेंदुआ किसानों के सामने से उनके चार पालतू कुत्तों को उठाकर ले गया था। इसके चलते ग्रामीणों में दहशत का माहौल बना हुआ था।
किसान समूह बनाकर खेतों पर काम करने जाते थे। वहीं दिन ढलते ही अपने घरों में बंद होने को मजबूर हो जाते। बीते दिनों क्षेत्र के स्टोन क्रेशर के मार्ग पर तेंदुए के दिखाई देने की वीडियो वायरल होने के बाद क्रेशर पर काम करने वाले कर्मचारियों ने भी काम पर जाना बंद कर दिया था।
तेंदुए की जानकारी पर वन विभाग के डीएफओ राजीव कुमार ने भी टीम के साथ जमना-जमनी में कांबिंग कर विभागीय अधिकारियों को दिन रात तेंदुए की मूवमेंट पर नजर रखने के निर्देश दिए थे। तेंदुए को पकड़ने के लिए वन विभाग के अधिकारी लगातार कांबिंग कर तेंदुए के पदचिन्हों के आधार पर पिंजड़ा लगाकर उसे पकड़ने में जुटे हुए थे।
तीन दिन पूर्व चौहद्दा में सरदार बिट्टू सिंह के पालतू कुत्ते को अपना निवाला बनाया था। जिसके अवशेष गन्ने के खेत में मिलने पर वन विभाग ने पिंजड़ा लगाकर तेंदुए को पकड़ने का प्रयास किया था। लेकिन तेंदुआ पकड़ में नहीं आ सका। तेंदुआ लगातार अपनी लोकेशन बदल रहा था।
जिसके चलते वन विभाग के अधिकारी हर दिन अलग गांव में अपना डेरा डालने में लगे रहे। रविवार की शाम तेंदुए ने किसान की बकरी पर हमला बोल दिया था। लोगों के शोर मचाने पर तेंदुआ बकरी को छोड़ कर भाग गया था। वन विभाग की टीम ने तत्काल पिंजड़ा लगाकर उसमें तेंदुए द्वारा मरी हुई बकरी को रख दिया।
सोमवार सुबह लगभग साढ़े चार बजे तेंदुआ पिंजड़े में कैद हो गया है। इस बीच आसपास ग्रामीण सतर्कता बर्तते हुए निगरानी कर ही रहे थे। उन्होंने तत्काल वन दरोगा शील कुमार को सूचना दी। तेंदुए को देखने के लिए भारी संख्या में ग्रामीणों का हुजूम जमा हो गया।
डिप्टी रेंजर कुंदन सिंह भंडारी सहित पहुंची वन विभाग की टीम तेंदुए को लेकर पीपली वन स्थित सालारपुर रेंज कार्यालय पर ले गई। इस दौरान वन दरोगा शीलकुमार सहित अन्य वनकर्मी मौजूद रहे। डिप्टी रेंजर कुंदन सिंह भंडारी ने बताया की परीक्षण के बाद तेंदुए को जनपद बिजनौर स्थित अनानगढ़ रेंज में छोड़ा जाएगा। इस बीच डीएफओ भी सालारपुर पहुंच गए हैं।