गर्भपात की दुकान में टीम ने छापा मारा
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उत्तर प्रदेश के आगरा में स्वास्थ्य विभाग ने ताजगंज स्थित कुआंखेड़ा में एक दुकान में अवैध तरीके से गर्भपात का मामला पकड़ा। खुद को नर्स बताने वाली ने गर्भवती का गर्भपात कर दिया। टीम को छापे में उसके पास चिकित्सकीय डिग्री और क्लीनिक का लाइसेंस नहीं मिला। टीम ने दुकान को सील करने के बजाय ताला लगाया और थाने में तहरीर दी है।
सीएमओ डॉ. अरुण श्रीवास्तव ने बताया कि अवैध रूप से गर्भपात करने की शिकायत पर एसीएमओ डॉ. जितेंद्र लवानियां को जांच करने भेजा। टीम को तीन दुकानों में क्लीनिक संचालित मिला। इसमें एक दुकान में प्रसव कक्ष बना था। मौके पर स्नेहलता मिली, जिसने प्रसव कक्ष में गर्भवती महिला का गर्भपात कराया था। कक्ष में गंदगी थी और उपकरण दूषित थे।
खून से सने उपकरण और कपड़े बिखरे पड़े थे। महिला से क्लीनिक का लाइसेंस और चिकित्सकीय डिग्री दिखाने के लिए कहा, लेकिन उपलब्ध नहीं करा पाई। पूछताछ में उसने फतेहाबाद रोड स्थित निजी अस्पताल में नर्स का कार्य करने की जानकारी दी। टीम ने उसके खिलाफ थाने में तहरीर दी है। दुकान पर ताला लगाने की सूचना दी है, हालांकि इसको सील कराने के लिए भी निर्देशित कर दिया गया है।
गैंग से भी हो सकता है जुड़ाव
सीएमओ ने बताया कि स्नेहलता ने जिस महिला का गर्भपात कराया था, वह दो माह की गर्भवती थी। टीम को शक है कि इसका भ्रूण लिंग जांच गैंग से भी जुड़ाव हो सकता है। गर्भ में बेटी पता होने पर गर्भपात और इसके लिए 8-10 हजार रुपये खर्च लेने की भी जानकारी मिली है।