उच्च शिक्षा मंत्री, उनके बेटे और पीड़ित कर्मचारी की पत्नी
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डॉ. भीमराव आंबेडकर विश्वविद्यालय के चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी (माली) दिनेश कुशवाह ने विषाक्त पदार्थ का सेवन करके खुदकुशी की कोशिश की। उसे निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया है। आरोप है कि उसे विश्वविद्यालय से उच्च शिक्षा मंत्री योगेंद्र उपाध्याय के आवास पर तैनात किया गया था। वहां मंत्री पुत्र उसका उत्पीड़न कर रहे थे। दो दिन पहले उसे पीटा गया। उत्पीड़न से आजिज आकर उसने यह कदम उठाया। घटना की जानकारी होने पर विश्वविद्यालय के कर्मचारियों में आक्रोश फैल गया। उन्होंने प्रदर्शन कर कार्रवाई की मांग उठाई।
विवि के कर्मचारियों ने कार्यालयों में तालाबंदी करके कुलसचिव सचिवालय में विरोध प्रदर्शन शुरू कर दिया। नियम विरुद्ध तरीके से कर्मचारी को मंत्री के आवास पर बेगार कराने पर रोष व्यक्त किया। शाम को कर्मचारी की हालत में सुधार होने पर कर्मचारी शांत हुए।
कर्मचारी की व्यथा: मंत्री के बेटे ने जूते से पीटा
पीड़ित कर्मचारी दिनेश कुशवाह का पत्र भी सोशल मीडिया पर वायरल हुआ। विवि के कुलसचिव को लिखे पत्र में उन्होंने आरोप लगाया है कि 2 वर्ष पहले उप कुलसचिव पवन कुमार ने उन्हें उच्च शिक्षामंत्री के आवास पर काम करने के लिए भेजा था। मंत्री के पुत्र आलौकिक उपाध्याय रात को 8 बजे तक रुकने के लिए कहते थे, जबकि उनकी ड्यूटी शाम 5 बजे खत्म हो जाती है। उप कुलसचिव से शिकायत की तो उन्होंने कोई मदद नहीं की। दिनेश का आरोप है कि मंत्री पुत्र ने 13 मई को उन्हें जूते से पीटा। कहा कि जहां चाहे शिकायत कर दे, विश्वविद्यालय को वह चलाते हैं। कोई तेरी मदद नहीं कर सकता। मजबूर होकर आत्महत्या जैसा कदम उठाने के लिए वह मजबूर हैं। कर्मचारी की पत्नी साक्षी ने भी सोशल मीडिया पर वीडियो डालकर आरोप लगाया है कि मंत्री के छोटे वाले बेटे ने थप्पड़ मारा है। बहुत अत्याचार करते हैं। 2 वर्ष से पति पर अत्याचार किया जा रहा है।
कर्मचारी को न्याय मिलने तक आंदोलन जारी रहेगा
घटना को लेकर विश्वविद्यालय के शिक्षणेत्तर कर्मचारी संघ के अध्यक्ष अखिलेश चौधरी ने सवाल उठाया कि किस अधिकारी के आदेश पर कर्मचारी को नियम विरुद्ध मंत्री के घर तैनात किया गया। उसके खिलाफ कार्रवाई होनी चाहिए। 3 अन्य कर्मचारी भी मंत्री आवास पर थे, जिन्हें वापस कर लिया गया। बुधवार को भी विवि में कामकाज ठप रखा जाएगा।
मेरे खिलाफ षड्यंत्र है : योगेंद्र उपाध्याय
उच्च शिक्षा मंत्री योगेंद्र उपाध्याय ने बताया कि ‘हमारे यहां तो यूनिवर्सिटी का कोई भी आदमी काम नहीं करता है। पहले बोदला वाला इश्यू बनाया गया था, अब यह। मेरे खिलाफ राजनीतिक कारणों से षड्यंत्र किया गया है। मेरी विरोधी लॉबी के लोग हैं जो मामले को उछाल रहे हैं। यह विश्वविद्यालय से पूछा जाए कि मेरे यहां कितने सरकारी कर्मचारी तैनात हैं।’