<p style="text-align: justify;">हिंदू धर्म में शादी से पहले कुंडली मिलाने का विशेष महत्व है. कुंडली मिलाते वक्त गोत्र, गुण, नाड़ी दोष जैसी सभी बातों का ध्यान रखा जाता है ताकि वर-वधू के जीवन में कोई समस्या न आएं. हिंदू धर्म में एक ही गोत्र में लड़का-लड़की करने का रिवाज नहीं है. ऐसा करना वर्जित माना गया है. इसके पीछे कई धार्मिक मान्यताएं हैं और वैज्ञानिक कारण भी हैं. जो लोगों को पता होने चाहिए, ताकि दांपत्य जीवन खुशहाल रहे. </p>
<p style="text-align: justify;"><strong>सगोत्र या एक ही गोत्र होने का अर्थ?</strong></p>
<ul style="text-align: justify;">
<li>ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, लड़का-लड़की का एक ही गोत्र होने का मतलब है कि उनके पूर्वज एक ही थे.</li>
<li>इस कारण लड़का-लड़की आपस में भाई-बहन लगते हैं. ज्योतिष मान्यता के अनुसार सात पीढ़ियों के बाद गोत्र बदल जाता है.</li>
<li>ऐसे में एक ही गोत्र में शादी की जा सकती है. हालांकि इस धारणा को लेकर भी कई मतभेद है. </li>
<li>मतभेद कुछ इस प्रकार हैं कि कुछ लोग सगोत्रीय विवाह करना सही मानते हैं तो कुछ गलत मानते हैं.</li>
</ul>
<p style="text-align: justify;"><strong>किन गोत्रों में नहीं करनी चाहिए शादी: </strong></p>
<p style="text-align: justify;">हिंदू धर्म में कुछ गोत्रों में शादी करना मना है. शादी के समय तीन गोत्र छोड़े जाते हैं अर्थात आप उन गोत्रों में शादी नहीं कर सकते. पहला है माता का गोत्र. दूसरा, पिता के गोत्र को छोड़ा जाता है. तीसरा, दादी का गोत्र, बाकी किसी भी गोत्र में विवाह किया जा सकता है.</p>
<p style="text-align: justify;"><strong>सगोत्र विवाह में क्या समस्याएं आती हैं: </strong></p>
<p style="text-align: justify;">सगोत्री विवाह करने से आपके दापंत्य जीवन में कई मुश्किलें आती हैं. आपको संतान प्राप्ति में समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है. अगर आपकी संतान होती है तो वह मानसिक रुप से उस प्रकार विकसित नहीं होती है. क्योंकि माता-पिता का सामान्य गोत्र होने के कारण बौद्धिक विकास भी सामान्य रुप से होता है. जानकार मानते हैं कि इसके पीछे वैज्ञानिक आधार है, जो डीएनए से भी जुड़ा है. आने वाली पीढियों के सर्वांगीण विकास में अहम भूमिका निभाता है, हिंदू धर्म के कई संत भी इस पर अपनी राय देते रहते हैं.</p>
<p style="text-align: justify;"><strong>सगोत्रीय विवाह क्यों न करें, जानें वैज्ञानिक कारण: </strong></p>
<ul style="text-align: justify;">
<li><span data-huuid="4111356604499323580">एक ही गोत्र के लोगों में जीन समान हो सकते हैं, जिससे कुछ आनुवंशिक समस्याएं उत्पन्न हो सकती हैं. </span></li>
<li>आनुवंशिक बेमेल और संकर डीएनए संयोजनों के कारण रक्त संबंधियों के बीच विवाह करने से संतान पैदा करने में समस्याएं हो सकती हैं.</li>
<li>वैज्ञानिकों के मुताबिक, अलग-अलग जीन वाले व्यक्तियों के बीच विवाह से जेनेटिक विविधता बढ़ती है और संतान के स्वास्थ्य पर सकारात्मक असर पड़ता है.<span class="pjBG2e" data-cid="5d88fff5-56fd-49b7-b474-fb0fabe43296"><span class="UV3uM"> </span></span></li>
</ul>
<p style="text-align: justify;"><strong><span class="pjBG2e" data-cid="5d88fff5-56fd-49b7-b474-fb0fabe43296"><span class="UV3uM">जानतें हैं की क्या इतनी जोखिमों के बाद भी सगोत्री विवाह होना संभव है या नहीं: </span></span></strong></p>
<p style="text-align: justify;"><span class="pjBG2e" data-cid="5d88fff5-56fd-49b7-b474-fb0fabe43296"><span class="UV3uM">आज कल के युग में प्रेम विवाह का चलन बढ़ गया है. कुछ लोगों ने जाति धर्म के विपरीत जाकर विवाह करने के चलन को अपना लिया है. पर ऐसा करना उनके लिए कई मुश्किलें बढ़ाता है. पर अगर फिर भी आप एक ही गोत्र में विवाह करना चाहते हैं या शिष्ट-संजोक ही ऐसा बन गया है कि आपको सगोत्रीय विवाह करना पड़ रहा है. इसके लिए कुछ विशेष उपाय किए जा सकते हैं, जो उचित मार्गदर्शन और परामर्श के साथ ही करने चाहिए.</span></span></p>
<ul style="text-align: justify;">
<li>लड़की का कन्यादान उसके माता-पिता की जगह घर के किसी और सदस्य से करा देना चाहिए. ऐसे में आप सगोत्रीय विवाह कर सकते हैं</li>
<li>आर्य समाज के मंदिर में शादी की जा सकती है</li>
<li>किसी ब्राह्मण से धार्मिक अनुष्ठान करवाकर, उसी ब्राह्मण को दान देकर, उसका गोत्र अपनाया जा सकता.</li>
</ul>
<p style="text-align: justify;"><a title="Budh Gochar 2025: शनि की राशि में बुध के प्रवेश करते ही खुल जाएगा इन राशियों का भाग्य" href="https://www.abplive.com/photo-gallery/astro/transit-budh-gochar-2025-mercury-transit-on-shani-dev-rashi-kumbh-11-february-these-zodiac-luck-will-change-2881705" target="_self">Budh Gochar 2025: शनि की राशि में बुध के प्रवेश करते ही खुल जाएगा इन राशियों का भाग्य</a></p>
Source link