गोरखपुर। यात्रियों की सुविधा में निरन्तर वृद्धि के साथ अगली पीढ़ी के लिये मॉडर्न एवं बेहतर स्टेशन बनाने के उद्देश्य से पूर्वोत्तर रेलवे के 58 रेलवे स्टेशनों के विकास का कार्य अमृत भारत स्टेशन योजना के अन्तर्गत किया जा रहा है। भारतीय रेल पर एन.एस.जी.-। श्रेणी में वर्गीकृत कुल 28 स्टेशनों में सम्मिलित गोरखपुर जं. स्टेशन को एक नया स्वरूप प्रदान करने का कार्य भी चल रहा है, पश्चिमी छोर पर मल्टी स्टोरी बिल्डिंग बनाने के लिये फाउंडेशन कार्य, एस्केलेटर के पास मुख्य बिल्डिंग के लिये फाउंडेशन कार्य तथा द्वितीय प्रवेश द्वार पर नई बिल्डिंग बनाने हेतु कार्य किया जा रहा है।
गोरखपुर जं. रेलवे स्टेशन के नये स्वरूप की भव्यता एवं विशालता का अनुमान इसी से लगाया जा सकता है कि स्टेशन यार्ड एवं प्लेटफॉर्मों के ऊपर ढाई एकड़ से ज्यादा एरिया में रूफ प्लाजा बनाया जा रहा है। साढ़े चार एकड़ में मुख्य भवन तथा डेढ़ एकड़ में उत्तरी भवन (द्वितीय प्रवेश द्वार) बनाया जा रहा है। स्टेशन पुनर्विकास के अन्तर्गत बनाये जा रहे कुल कवर्ड क्षेत्र की बात करें तो चौदह एकड़ क्षेत्रफल का निर्माण किया जायेगा। इससे बड़ी संख्या में रोजगार का सृजन होगा। इस नये भवन में 38 लिफ्ट एवं 22 एस्केलेटर लगाये जायेंगे।
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गोरखपुर जं. स्टेशन पर बजट होटल, कमर्शियल भवन एवं पार्किंग की उत्कृष्ट सुविधा मिलेगी। 2,500 किलोवाट पावर क्षमता का सोलर प्लांट लगाया जायेगा। वाटर रिसाइक्लिंग प्लांट, सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट एवं रेन वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम लगाया जायेगा। इस रेलवे स्टेशन को आने वाले पचास वर्षों की आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुये डिजाइन किया गया है। इसके आकर्षक स्वरूप में स्थानीय संस्कृतियों एवं आधुनिक वास्तुकला का उत्कृष्ट संगम दिखेगा।